ज्ञानशाला प्रशिक्षिकाओं की एक दिवसीय कर्नाटका राज्य स्तरीय कार्यशाला का आयोजन

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ज्ञानशाला प्रशिक्षिकाओं की एक दिवसीय कर्नाटका राज्य स्तरीय कार्यशाला का आयोजन

हुबली।
मुनि हिमांशु कुमार जी, मुनि हेमंत कुमार जी के सान्निध्य में तेरापंथी सभा, हुबली द्वारा ‘सोपान’ प्रशिक्षक प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन किया गया। जिसमें लगभग कर्नाटक के 17 क्षेत्रों ने भाग लिया। ज्ञानशाला प्रशिक्षक प्रशिक्षण कार्यशाला में मुनि हिमांशु कुमार जी ने सिखाया कि प्रशिक्षक की भूमिका कैसी होनी चाहिए? प्रशिक्षक प्रशिक्षण कैसे दे, इस विषय पर अपने विचारों की अभिव्यक्ति दी। प्रशिक्षक में किन सात प्रकारों के गुणों की आवश्यकता होती है, उन सातों गुणों को व्याख्यापूर्वक बताया।
मुनि हेमंत कुमार जी ने बताया कि प्रशिक्षक का आचार, व्यवहार किस तरह का होना चाहिए। कार्यक्रम लगभग चार चरणों में संपादित हुआ। दूसरे सत्र में ज्ञानशाला राष्ट्रीय प्रशिक्षक डालिमचंद नवलखा द्वारा प्रशिक्षण दिया गया। तीसरे सत्र में मुनि हेमंत कुमार जी ने समझाया कि ज्ञानार्थियों को प्रशिक्षण कैसे दें? बच्चों के तर्कों का जवाब कैसे दें? आदि विषयों पर समझाया। चौथे सत्र में तेरापंथ सभा के मंत्री केसरीचंद गोलेछा द्वारा अपनी अभिव्यक्ति दी गई। कर्नाटक स्तरीय ज्ञानशाला के संयोजक मानकचंद संचेती ने भी अपने विचार व्यक्त किए।
जिज्ञासा समाधान सत्र का आयोजन किया गया, जिसमें सभी प्रशिक्षिकाओं की जिज्ञासा का समाधान किया गया। कर्नाटक की सभी क्षेत्रों से उपस्थित प्रशिक्षिकाओं को मोमेंटो द्वारा सम्मानित किया गया। कार्यक्रम का संचालन ज्ञानशाला, हुबली की प्रशिक्षिका भाग्यवती बागरेचा द्वारा किया गया। ज्ञानशाला प्रशिक्षिकाओं द्वारा गीतिका भी प्रस्तुत की गई। स्वागत भाषण ज्ञानशाला प्रशिक्षिका कंचन चोपड़ा द्वारा किया गया। आभार ज्ञापन स्थानीय ज्ञानशाला संयोजक महेंद्र वेदमूथा द्वारा किया गया।