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बेंगलुरु शहर की सीमा में मंगल प्रवेश
युगप्रधान आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या साध्वी पुण्ययशा जी ठाणा-4 का राजाराजेश्वरी नगर के चातुर्मास हेतु बेंगलुरु महानगर की सीमा में मंगल प्रवेश हुआ। इस अवसर पर बेंगलुरु के समस्त सभा-संस्थाओं, युवक परिषद, महिला मंडल के पदाधिकारीगण एवं श्रावक-श्राविकाओं की अच्छी संख्या में उपस्थिति रही। महानगर की सीमा से विहार करते हुए साध्वीवृंद, श्रावक समाज के साथ टी. दासरहल्ली स्थित तेरापंथ भवन पधारे, जहाँ स्वागत-अभिनंदन कार्यक्रम आयोजित किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत साध्वीश्री के मुखारविंद से मंगल मंत्रोच्चार के साथ हुई।
तेरापंथी सभा की उपाध्यक्ष सरोज आर. बैद ने विहार की सुखसाता की पृच्छा करते हुए साध्वीवृंद का भावभीना स्वागत किया। तेयुप अध्यक्ष बिकाश छाजेड़ तथा तेममं की अध्यक्षा सुमन पटावरी ने स्वागत वक्तव्य प्रस्तुत किया। सभा के मंत्री गुलाब बांठिया तथा महिला मंडल द्वारा स्वागत गीत की प्रस्तुति दी गई। साध्वी पुण्ययशा जी ने अपने वक्तव्य में कहा कि गुरुकृपा से ही हम इतना लंबा विहार कर प्रथम बार दक्षिण भारत की यात्रा पर आए हैं। अब बेंगलुरु के विभिन्न क्षेत्रों की सार-सम्भाल करते हुए चातुर्मासार्थ राजाराजेश्वरी नगर जाना है। गुरु इंगित की आराधना करते हुए श्रावकों में धार्मिक भावना का विकास करना ही हमारी प्राथमिकता रहेगी। साध्वी विनीतयशा जी, साध्वी वर्धमानयशा जी एवं साध्वी बोधिप्रभा जी ने भी भावाभिव्यक्ति प्रस्तुत की।
भायंदर, मुंबई से रास्ते की सेवा रत धर्मेन्द्र बोथरा का जैन पट्ट एवं साहित्य द्वारा सम्मान किया गया। तत्पश्चात धर्मेन्द्र बोथरा ने भी अपने विचार रखे। तेरापंथ महिला मंडल, टी. दासरहल्ली ने मंगलाचरण प्रस्तुत किया। सभा अध्यक्ष भगवतीलाल मांडोत और तेयुप अध्यक्ष कन्हैयालाल गांधी ने स्वागत वक्तव्य दिया। राजराजेश्वरी नगर सभा अध्यक्ष राकेश छाजेड़ के कुशल नेतृत्व में मंत्री गुलाब बांठिया ने कार्यक्रम का सुंदर संयोजन किया। बसों की व्यवस्था महेन्द्र भरूंट एवं शारदा बैद द्वारा सुचारु रूप से की गई।