
संस्थाएं
ज्ञानशाला दिवस का आयोजन
तेरापंथ भवन इचलकरंजी में ज्ञानशाला दिवस मनाया गया। कार्यक्रम का प्रारम्भ नमस्कार महामंत्र द्वारा किया गया। मंगलाचरण ज्ञानार्थियों द्वारा मंगल संगान से हुआ। ज्ञानशाला संयोजिका रजनी पारख ने स्वागत भाषण दिया तथा स्थानीय ज्ञानशाला की गतिविधियों के बारे में जानकारी दी। ज्ञानशाला संचालक संस्था तेरापंथ सभा के अध्यक्ष अशोक बाफना ने प्रशिक्षिकाओं का आभार व्यक्त किया एवं बच्चों को ज्ञानशाला भेजने का आह्वान किया।
ज्ञानार्थियों ने विभिन्न प्रस्तुतियां दीं – जमीकंद त्याग का महत्व, योगा द्वारा सिद्धशिला का निर्माण, "सपनों को सच करती संस्कार शाला - ज्ञानशाला की उपयोगिता", भिक्षु दृष्टांत पर आधारित नुक्कड़ नाटिका, "साइबर क्राइम" पर आधारित नाटिका, "गुरुवर का पैगाम हम घर-घर पहुँचाएंगे", "सबसे प्यारी ये फुलवारी ज्ञानशाला है" तथा ज्ञानशाला गीत पर नन्हे-मुन्ने बच्चों ने रोचक नृत्य प्रस्तुत किया। अंत में प्रशिक्षिकाओं ने ज्ञानशाला के महत्व को शब्द-चित्र द्वारा प्रस्तुत किया तथा "सही राह दिखाए" गीतिका की प्रस्तुति दी। ज्ञानशाला के पूर्व ज्ञानार्थियों तनीष छाजेड़, लक्षी पटावरी और जैनी बालर ने भी अपने अनुभव साझा किए। नमस्कार महामंत्र की थीम के साथ प्रशिक्षिका शिल्पा बाफना एवं इंद्रा बालर ने कार्यक्रम का कुशल संचालन किया। सह संयोजिका नीतू छाजेड़ ने सभी का आभार व्यक्त किया। प्रशिक्षिकाएं सीमा डागा, पूजा आंचलिया, सुनीता चोरडिया, वंदना पटवारी, शांता सालेचा एवं डिम्पल भंसाली का विशेष सहयोग रहा। शिशु संस्कार बोध परीक्षा 2024 के प्रमाण पत्र एवं पारितोषिक का वितरण किया गया।