आगम मनीषी बहुश्रुत परिषद के संयोजक मुनि महेंद्रकुमारजी का देवलोकगमन संपूर्ण जैन समाज की क्षति है
दिल्ली।
आगम मनीषी मुनि महेंद्रकुमारजी एक विरल, विशिष्ट और आध्यात्मिक वैज्ञानिक व्यक्तित्व के धनी थे। उनके देवलोकगमन से संपूर्ण जैन समाज में रिक्तता का बोध हो रहा है। इस आशय के उद्गार उग्रविहारी तपोमूर्ति मुनि कमल कुमारजी ने मुनि महेंद्रकुमारजी की स्मृति में अणुव्रत भवन में आयोजित गुणानुवाद सभा में व्यक्त किए। मुनिश्री विशेष रूप से लगभग 16 किलोमीटर का विहार कर अणुव्रत भवन पधारे और वापस विहार किया। शासनश्री साध्वी संघमित्राजी ने दिल्ली में वर्ष 1985 में उनके अणुव्रत भवन के चातुर्मास के संस्मरण सुनाए। ज्ञातव्य है कि वर्ष 1985 में ही दिल्ली के सुराणा स्मृति भवन, सदर बाजार में साध्वीश्री का चातुर्मास था। शासनश्री साध्वी शीलप्रभाजी ने उनको ज्ञानवान के साथ-साथ एक अच्छा शिक्षक भी बताया। उन्होंने कविता के माध्यम से मुनि महेंद्र कुमारजी के प्रति भावांजलि अर्पित की। दिल्ली में सर्वाधिक अठारह चातुर्मास करने वाले मुनिश्री का दिल्ली में जैन-जैनेत्तर विद्वज्जनों, शीर्ष राजनेताओं, साहित्यकारों जैन समाज के शीर्ष नेताओं से निरंतर वार्तालाप, विचार-विनिमय व कार्यक्रमों की आयोजना होती रहती थी।
इस अवसर पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के उत्तर भारतीय संघ चालक बजरंग लाल गुप्ता ने मुनिश्री के साथ समय-समय पर होने वाली सार्थक चर्चाओं को याद किया। उन्होंने कहा कि हाल ही में मुंबई जाकर मुनिश्री के दर्शन करने का सौभाग्य प्राप्त हुआ। समाजभूषण मांगीलाल सेठिया, जैन महासभा के अध्यक्ष दिनेश भाई डोसी, सुप्रसिद्ध पत्रकार स्वदेश भूषण जैन, मूर्तिपूजक समाज के ललित नाहटा, कल्याण परिषद के संयोजक व अणुव्रत न्यास के प्रबंध न्यासी के0सी0 जैन, महासभा के उपाध्यक्ष संजय खटेड़ आदि ने भावांजलि अर्पित की। दिल्ली सभा के अध्यक्ष सुखराज सेठिया ने दिल्ली समाज के विकास में मुनि महेंद्रकुमारजी के योगदान की चर्चा की। दिल्ली में विराजित शासनश्री साध्वी रतनश्री जी, शासनश्री साध्वी रविप्रभाजी, साध्वी अणिमाश्रीजी व साध्वी डॉ0 कुंदनरेखाजी के संदेशों का वाचन हुआ। सभा के पूर्वाध्यक्ष अणुव्रत भवन के प्रभारी न्यासी शांति कुमार जैन, महिला मंडल अध्यक्षा मंजु जैन, तेयुप अध्यक्ष विकास सुराणा, टीपीएफ अध्यक्ष राजेश गेलड़ा, वरिष्ठ प्रेक्षा प्रशिक्षक रमेश कांडपाल आदि ने मुनि महेंद्रकुमार जी के जीवन दर्शन पर भाव प्रकट किए। संयोजन सभा के महामंत्री प्रमोद घोड़ावत ने करते हुए मुनिश्री का जीवन परिचय प्रस्तुत किया।