प्रशिक्षक प्रशिक्षण रिफ्रेश कार्यशाला एवं प्रशिक्षक परीक्षा

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प्रशिक्षक प्रशिक्षण रिफ्रेश कार्यशाला एवं प्रशिक्षक परीक्षा

गुवाहाटी
ज्ञानशाला प्रकोष्ठ द्वारा निर्देशित तेरापंथी सभा द्वारा संचालित प्रशिक्षक प्रशिक्षण रिफ्रेश कार्यशाला का आयोजन किया गया। जिसमें चारों ही शाखाओं की प्रशिक्षिकाओं की अच्छी उपस्थिति रही। प्रशिक्षिकाओं द्वारा मंगलाचरण के पश्‍चात ज्ञानशाला संयोजक अरुण बोथरा ने सभी का स्वागत किया। आपके ज्ञान व प्रशिक्षण की कला और बेहतर हो इस उद्देश्य से इस कार्यशाला का आयोजन किया गया। सभा के मंत्री निर्मल सामसुखा ने कहा कि हम प्रवाहवान हैं, ज्ञान का अर्जन करने के लिए हम विविध शैक्षणिक संस्था जाते हैं, आज की शिक्षा पद्धति से सीए, वकील, शिक्षक आदि तो बन जाते हैं पर संस्कार ज्ञान के ऊपर कहीं ना कहीं प्रश्‍न चि बना हुआ है। उन्होंने एक विचार के माध्यम से कहा शैक्षणिक योग्यता केवल पेपर तक ही सीमित रह जाती है। साथ रहती है तो हमारे संस्कार रूपी गुण जो बच्चों को नि:स्वार्थ भाव से आप सभी प्रशिक्षिकाएँ संस्कारी बनाने के लिए ज्ञानशाला में दे रही हैं।
पूर्वोत्तर प्रभारी ने सभी प्रशिक्षिकाओं को सफलतम कार्यशाला व गुवाहाटी ज्ञानशाला उच्चतम स्थान प्राप्त करे, ऐसी शुभकामनाएँ प्रेषित की। प्रथम सत्र में प्रवक्‍ता उपासक अशोक सुरणा ने जैन दर्शन व जैन सिद्धांत के बारे में विचार प्रस्तुत किए। जिज्ञासाओं का समाधान किया। प्रवक्‍ता उपासिका पुष्पा गोलछा ने तत्त्व के बारे में अभिव्यक्‍ति दी। दूसरे सत्र में प्रकाश बरड़िया ने बताया कि बच्चों को कैसे पढ़ाएँ। किस प्रकार जोड़ें और आपसी वार्तालाप से, सरल भाषा में बच्चों के ज्ञान में वृद्धि कराएँ। इसी क्रम में प्रशिक्षिका कविता बांठिया ने कहा कि 30 वर्ष पहले जो ज्ञानशाला रूपी बीज गणाधिपति श्री तुलसी ने बोए थे, वह आज वटवृक्ष बन गया है।
प्रवक्‍ता उपासिका भारती महणोत ने भिक्षु विचार दर्शन में दया और दान के बारे में जानकारी दी। कंठस्थ व उच्चारण शुद्धि पर बहुत ही रोचक व सरल तरीके से अष्टकम व प्रतिक्रमण कीपाटियों का उच्चारण प्रवक्‍ता उपासिका ललिता श्यामसुखा ने शिक्षिकाओं को करवाया। अंत में संयोजक ने कहा कि हमें अपने अंदर अपनत्न के भाव को विकसित करना चाहिए एवं योग्य ज्ञानार्जन करना चाहिए। ज्ञानशाला प्रशिक्षक प्रशिक्षण परीक्षा संपन्‍न हुई। जिसमें विज्ञ, विशारद, स्नातक तीनों की ही परीक्षा देने वाली बहनों की सहभागिता रही।