मुंबई स्तरीय ‘उन्‍नयन’ कार्यशाला का आयोजन

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मुंबई स्तरीय ‘उन्‍नयन’ कार्यशाला का आयोजन

कांदिवली- मुंबई
तेरापंथ भवन में साध्वी राकेश कुमारी जी के सान्‍निध्य में अखिल भारतीय तेरापंथ युवक परिषद् के नवमनोनीत अध्यक्ष पंकज डागा की अध्यक्षता में ‘उन्‍नयन’ कार्यशाला का आयोजन हुआ। सर्वप्रथम जैन संस्कार विधि से सभी पदाधिकारियों का स्वागत एवं जैन ध्वजारोहण से उन्‍नयन कार्यशाला का शुभारंभ किया गया। तेयुप कांदिवली-मलाड की संपूर्ण टीम ने मिलकर उन्‍नयन गीतिका की प्रस्तुति दी। तेयुप कांदिवली अध्यक्ष मनीष रांका ने सभी का स्वागत किया। साध्वी श्री राकेश कुमारीजी ने अपने उद्बोधन में कहा कि स्वपन और संकल्प दोनों को एक-दूसरे की कड़ी बताते हुए कहा की जब तक स्वप्न नहीं देखोगे तो संकल्प नहीं ले पाओगे और जब तक संकल्प नहीं लोगे तो संघ को सेवाएँ नहीं दे पाओगे। सबसे पहले हमें हमारी शक्ति को पहचानने की जरूरत है। हम अपने अंदर के विकास को सबल बनाना होगा। उन्‍नयन न केवल उठाने का नाम है उन्‍नयन पर्वत के शिखर तक पहुँचने का सन्मार्ग है। संघ मजबूत होगा तो समाज समृद्ध बनेगा और जो समाज समृद्ध होता है, संगठित होता है वो सशक्त होता है। साध्वी मलयविभा जी ने उन्‍नयन को किस तरह अपने जीवन में, संघ के लिए और अपने आप के लिए कैसे विकसित कर सकते हैं, उस पर प्रकाश डाला। उन्होंने आज के युग में ऐसी कार्यशालाओं की महत्ता को बताते हुए कहा की कैसे ये कार्यशाला पथ प्रशस्त करती है और लक्ष्य तक पहुंचाने में सहायक होती है। अभातेयुप सहमंत्री भूपेश कोठारी ने संपूर्ण प्रबंध मंडल का स्वागत किया और 2023 के आचार्य महाश्रमण जी के चातुर्मास के लिए मुंबई युवा शक्ति को तन मन धन से समर्पित रहने का संकल्प दिया।
राष्ट्रीय अध्यक्ष पंकज डागा ने कांदिवली-मलाड के संयुक्त परिषद् की आयोजना को बधाई देते हुए युवकों को संबोधित करते हुए कहा कि हमें कथनी और करनी की समानता रखनी है। हमें पूर्ण विश्वास के साथ हर कार्य की क्रियान्विति करनी होगी। ये कार्यशाला जब सफल होगी जब हम नए युवकों को धर्मसंघ से जोड़ेंगे। उन्होंने युवाद‍ृष्टि घर-घर पहुंचे ऐसा संकल्प उन्होंने समस्त परिषदों को दिया। जैनत्व को पुष्ट करना है तो जैन संस्कार विधि को जन-जन तक पहुँचाना होगा और सबसे पहले उसे स्वयं अपनाना होगा।
परिषदों में जोश भरते हुए उन्होंने कहा कि कोई परिषद् छोटी बड़ी नहीं होती जिस परिषद् में ललक होती है कुछ कर गुजरने की वो मंजिल से फिर दूर नहीं रहती। उन्होंने सबसे कहा कि आचार्य महाश्रमण जी के रास्ते की सेवा का लाभ हर परिषद् को लेना चाहिए, यह वो अनमोल घड़ी होती है जब हम हमारे आराध्य हमारे प्रभु के सबसे निकट रहते हैं। अभातेयुप राष्ट्रीय महामंत्री श्री पवन मांडोत ने अपने वक्तव्य में परिषदों को संघ के प्रति समर्पित रहकर कार्य करने की प्रेरणा दी। उपाध्यक्ष-प्रथम रमेश डागा, उपाध्यक्ष-द्वितीय जयेश मेहता, कोषाध्यक्ष भरत मरलेचा, सहमंत्री अनंत बागरेचा की भी उपस्थिति रही। मुंबई चातुर्मास के व्यवस्था समिति के अध्यक्ष मदनलाल तातेड़, तुलसी महाप्रज्ञ फाउंडेशन के ट्रस्टी श्रीमान राकेश कठोतिया युवा गौरव श्री बी0सी0 भालावत, निवर्तमान अभातेयुप अध्यक्ष संदीप कोठारी, उन्‍नयन कार्यशाला का प्रायोजक के0एल0 परमार, श्री जैन श्वेतांबर तेरापंथी सभा मुंबई के अध्यक्ष नरेंद्र तातेड़, अणुव्रत समिति की अध्यक्षा कंचन सोनी, तेरापंथ महिला मंडल मुंबई की अध्यक्षा रचना हिरन आदि ने अपनी भावाभिव्यक्ति दी। मलाड मंत्री पुखराज सिरोहीया ने आभार व्यक्त किया। रक्तदान शिविर का आयोजन : मलाड तेरापंथ युवक परिषद् ने मानव सेवा को समर्पित रक्तदान शिविर का आयोजन भी किया जिसमे 78 रक्त दाताओं ने रक्त दान किया।
मुंबई अभातेयुप टीम ने अपनी ओर से 51 लाख रुपये का अनुदान और श्री बी0 सी0 भलावत ने 21 लाख का अनुदान देने की घोषणा की। कांदिवली, मलाड, बोरीवली द्वारा चौका सत्कार के प्रत्येक परिषद् की ओर से सवा लाख रुपये का चौका सत्कार के लिए अनुदान देने का संकल्प किया। कांदिवली तेरापंथ युवक परिषद् ने भिक्षु भजनों की संयुक्त भजनावली ‘भावों का गुलदस्ता’ पुस्तक का विमोचन किया।