प्रभावित नहीं, प्रकाशित करने वाला हो चातुर्मास

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संगरूर

प्रभावित नहीं, प्रकाशित करने वाला हो चातुर्मास

आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या साध्वी प्रांजलप्रभा जी ठाणा 4 ने भव्य जुलूस के साथ वर्ष 2025 के चातुर्मास हेतु संगरूर स्थित तेरापंथ भवन में मंगल प्रवेश किया। नगर के मुख्य मार्गों से होते हुए साध्वीश्री तेरापंथ भवन में पधारीं, जहां मंगल मंत्रोच्चार का उच्चारण कर साध्वी श्री ने शुभ मुहूर्त में भवन में प्रवेश किया। भव्य जुलूस में तेरापंथी सभा, महिला मंडल, युवक परिषद आदि विभिन्न संस्थाओं के सदस्यों के साथ सभी कौम के व्यक्ति अभिनंदन के लिये उपस्थित थे। मंगल प्रवेश के पश्चात् आयोजित स्वागत कार्यक्रम नमस्कार महामंत्र के उच्चारण से प्रारंभ हुआ। स्वागत कार्यक्रम में साध्वी प्रांजलप्रभा जी ने उत्साहित श्रावक समाज को संबोधित करते हुए कहा कि महातपस्वी, युगप्रधान आचार्य श्री महाश्रमण जी के निर्देशानुसार परमाराध्य, परम वंदनीय भगवान महावीर के संदेशों को जन-जन तक पहुंचाने के लिये संदेशवाहक के रूप में आज हम संगरूर पहुंचे हैं। आज का यह स्वागत हमारा स्वागत नहीं है, यह स्वागत है महासूर्य आचार्य श्री महाश्रमण जी का, यह स्वागत है तप और त्याग का, यह स्वागत है संत की संतता का और यह स्वागत है जैन संस्कृति का।
साध्वीश्री ने अपने उद्बोधन में आगे कहा कि हम आज इस अवसर पर यह मंगलकामना करते हैं कि हमारा यह चातुर्मास दृष्टिकोण की चिकित्सा करने वाला हो, आध्यात्मिक वैभव बढ़ाने वाला हो, जनमानस को प्रभावित नहीं अपितु प्रकाशित करने वाला हो। साध्वी रुचिप्रभा जी, साध्वी गौतमप्रभा जी व साध्वी मध्यस्थप्रभा जी ने सामूहिक सुमधुर गीतिका से अपने भावों की प्रस्तुति दी। स्वागत-अभिनंदन के स्वर में स्थानीय तेरापंथी सभा के अध्यक्ष अमरनाथ, सभा के संरक्षक विजय गुप्ता, युवक परिषद अध्यक्ष अमन गोयल, महिला मंडल अध्यक्षा मीना जिन्दल, पंजाब सभा के उपाध्यक्ष कमल नौलखा, डॉ आर. सी. जैन, एडवोकेट संजीव गोयल, प्रिया जैन, सीमा बजाज, भावना रामदास, रेणु जैन आदि ने संभाषण व गीत के माध्यम से अपने भावों की अभिव्यक्ति दी। इस अवसर पर सभा बरनाला के अध्यक्ष सुमित जैन, बरनाला से धर्मपाल जैन, सुनाम से रूपेश जैन, उपासिका सोना जैन आदि ने अपनी शुभकामनाएं प्रेषित कीं। कुशल संचालन सभा मंत्री रमेश शर्मा ने किया। प्रवेश पर स्थानीय श्रावक समाज की सराहनीय उपस्थिति रही।