'नारी विकास की पर्याय है जागरूकता'

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भीनासर।

'नारी विकास की पर्याय है जागरूकता'

साध्वी जिनबाला जी के सान्निध्य में तेरापंथ सभा भवन, भीनासर के प्रांगण में 'नारी शक्ति का जागरण' विषयक महिला सम्मेलन कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ साध्वीश्री द्वारा नमस्कार महामंत्र से हुआ। स्थानीय महिला मंडल की बहनों ने संकल्प गीत का संगान किया। मुख्य अतिथि के रूप में अखिल भारतीय तेरापंथ महिला मंडल की नव-निर्वाचित कोषाध्यक्ष ममता रांका एवं कार्यकारिणी सदस्या सुप्रिया राखेचा उपस्थित रहीं।
साध्वी जिनबाला जी ने अपने उद्बोधन में कहा— 'जैसे जामवन्त ने हनुमान जी की सुप्त शक्ति को जगाया, वैसे ही नारी की शक्ति को भी एक बार जागृत होना चाहिए। आचार्य श्री तुलसी ने महिलाओं के विकास के लिए जो प्रयास किए, उसी का परिणाम है कि आज तेरापंथ समाज की महिलाएं युग के साथ आगे बढ़ रही हैं।' उन्होंने 3C फार्मूला को समझाते हुए कहा— Challenge: हर चुनौती को दृढ़ता से स्वीकार करें। Control: इच्छाओं व भावनाओं पर नियंत्रण रखें। Cooperation: एक-दूसरे की भावनाओं को समझकर सहयोग करें। साध्वी करुणाप्रभा जी ने कहा कि हर व्यक्ति शक्तिशाली है, बस अपनी शक्ति को पहचानने की आवश्यकता है। साध्वी भव्यप्रभा जी ने कहा कि सहनशीलता नारी की सबसे बड़ी शक्ति है, जिसे जागृत कर वह अपने परिवार को स्वर्ग बना सकती है।
यू.आई.टी. के पूर्व चेयरमैन एवं शक्तिपीठ ट्रस्टी महावीर रांका ने कहा— 'सफलता के लिए देव, गुरु और धर्म की शक्ति महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है।' ममता रांका ने कहा— 'नारी विकास के लिए पीढ़ियों के बीच तालमेल आवश्यक है तथा परिवार का सहयोग अनिवार्य है।' सुप्रिया राखेचा ने कहा— 'शक्ति हमारे अंतर में निहित है, बस उसे जगाने की जरूरत है।'
महिला मंडल की बहनों ने स्वागत संगान प्रस्तुत किया तथा युवतियों ने महिला सम्मेलन एयरवेज कार्यक्रम की आकर्षक प्रस्तुति दी। अध्यक्षा शशि गोलछा ने स्वागत भाषण दिया और मंत्री प्रमिला सेठिया ने आभार व्यक्त किया। साध्वी वृंद ने 'नारी शक्ति' पर सामूहिक संगान किया। भीनासर महिला मंडल द्वारा राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष ममता रांका एवं सुप्रिया राखेचा का मोमेंटो एवं साहित्य भेंट कर स्वागत किया गया। मनाली सेठिया और श्वेता सेठिया ने कार्यक्रम का कुशल संचालन किया। कार्यक्रम में लगभग 200 भाई-बहनों की उपस्थिति रही।