अवबोध
ु मंत्री मुनि सुमेरमल ‘लाडनूं’ ु
(3) चारित्र मार्ग
प्रश्न-13 : किस कल्प में कितने चारित्र हैं?
उत्तर : कल्प का अर्थ हैआचार-विधि। उसके पाँच प्रकार हैं
(1) स्थितिकल्प (2) अस्थितिकल्प (3) जिनकल्प
(4) स्थविरकल्प (5) कल्पातीत
स्थितिकल्प मुनियों में पाँच चारित्र होते हैं।
अस्थितिकल्प व कल्पातीत में तीनसामायिक, सूक्ष्म संपराय व यथाख्यात होते हैं।
जिनकल्प व स्थविरकल्प में प्रथम तीन चारित्र पाते हैं। (क्रमश:)