आचार्य तुलसी संयम और तप के पुरोधा पुरुष थे
कटक।
मुनि जिनेश कुमार जी के सान्निध्य में आचार्यश्री तुलसी का 26वाँ महाप्रयाण दिवस समारोह तेरापंथ सभा के तत्त्वावधान में विशाल अपार्टमेंट के प्रांगण में आयोजित किया गया। इस अवसर पर मुनि जिनेश कुमार जी ने कहा कि अध्यात्म के क्षेत्र में संयम और तप में पराक्रम करने वाला विशिष्ट पुरुष होता है। आचार्य तुलसी संयम और तप के पुरोधा पुरुष थे। वे भारतीय संस्कृति के उज्ज्वल नक्षत्र थे। वे मानवता के मसीहा, शांति के पैगंबर थे। वे विकास के श्लाका पुरुष थे। कार्यक्रम का शुभारंभ तेरापंथ महिला मंडल द्वारा तुलसी अष्टकम् के मंगलाचरण से हुआ। तेरापंथ कन्या मंडल की उपाध्यक्षा इंद्र लुणिया ने प्रश्न पुस्तिका भेंट की। तेरापंथी सभा के मंत्री चैनराज चोरड़िया, तेयुप के अध्यक्ष भैरव दुगड़ ने अपने विचार व्यक्त किए। आभार ज्ञापन सहमंत्री इंद्र कुमार दुगड़ ने व संचालन मुनि परमानंद जी ने किया। इस अवसर पर तुलसी मंत्र का जप भी किया गया। कार्यक्रम में शिविरार्थी बालक-बालिकाओं के अतिरिक्त अच्छी संख्या में श्रद्धालुगण उपस्थित थे। कार्यक्रम को सफल बनाने में विशेष संयोजक रणजीत दुगड़ आदि का योगदान रहा।