नव वर्ष पर विविध कार्यक्रमों के आयेाजन

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नव वर्ष पर विविध कार्यक्रमों के आयेाजन

राजमुंद्री
मुनि दीप कुमार जी के सान्निध्य में नव वर्ष-2023 के शुभारंभ के अवसर पर विशेष मंगलपाठ एवं ‘नव वर्ष, हो हमारा उत्कर्ष’ विषय पर मुनिश्री का विशेष उद्बोधन हुआ। कार्यक्रम तेरापंथी सभा द्वारा आयोजित किया गया। मुनि दीप कुमार जी ने कहा कि गत वर्ष को अलविदा और नए वर्ष का अभिनंदन हो रहा है। एक तरफ अतीत है, दूसरी तरफ भविष्य है। विदाई और बधाई के बीच हम खड़े हैं। सच्चाई यह है कि जो विदाई देना जानता है वही बधाई का हकदार भी होता है। मुनिश्री ने आगे कहा कि नव वर्ष पर उत्कर्ष के लिए तीन सूत्रों को अपनाना चाहिए-‘भूलो और क्षमा करो’। छोटी-मोटी गलतियाँ होती रहती हैं। किसी से गाँठ न बाँधें। दूसरा-‘प्रसन्नता’। हर समय प्रसन्न रहें। तीसरा-‘संकल्प बल’। संकल्प बल से बड़ा बल कोई नहीं होता। पवित्र संकल्प से मन को भावित करते रहें।
मुनिश्री ने विविध ‘वीतराग मंत्रों’ से अनुष्ठान कराया और नव वर्ष पर विशेष मंगलपाठ सुनाया। बाल मुनि काव्य कुमार जी ने ‘लोगस्स’ एवं ‘धम्मो मंगल’ आदि गाथाओं का संगान कराया। कार्यक्रम को सफल बनाने में तेरापंथी सभा, राजमुंद्री का अच्छा श्रम रहा।