आचार्यश्री महाप्रज्ञ महाप्रयाण दिवस पर िवशेष आयोजन
आचार्यश्री महाप्रज्ञ के 15वें महाप्रयाण दिवस पर आयोजन 'शासन गौरव' साध्वीश्री कनकश्रीजी के सान्निध्य में प्रज्ञापुरुष आचार्यश्री महाप्रज्ञजी का 15वां महाप्रयाण दिवस जप, तप, ध्यान और श्रद्धा समर्पण पूर्वक मनाया गया। महारानी फार्म के दिगम्बर जैन मन्दिर में आयोजित कार्यक्रम की शुरुआत नमस्कार महामंत्र एवं 'ॐ श्री महाप्रज्ञ गुरवे नम:' के सामूहिक जाप से हुई। सर्वप्रथम युवा सदस्यों सौरभ जैन, प्रवीण जैन, अंकित जैन आदि ने मधुर भक्ति गीत से प्रज्ञापुरुष को विनयांजलि समर्पित की।
धर्मसभा को संबोधित करते हुए साध्वी कनकश्रीजी ने कहा- आचार्य श्री महाप्रज्ञजी विश्व की महानतम आध्यात्मिक विभूतियों में अग्रणी थे। उन्होंने मानवीय समस्याओं का सूक्ष्म विश्लेषण किया तथा मौलिक समाधान प्रस्तुत किए। उन्होंने आध्यात्मिक चिंतन एवं वैज्ञानिक दृष्टिकोण द्वारा विश्व को नई दृष्टि प्रदान की। प्रज्ञापुरुष के प्रेरक संस्मरणों को प्रस्तुत करते हुए साध्वीश्री ने कहा- आचार्यश्री महाप्रज्ञजी ऐसे विलक्षण अध्यात्म गुरु थे जिन्होंने प्रेक्षाध्यान, जीवन विज्ञान और आगम संपादन जैसे महान अवदानों से समग्र विश्व को उपकृत किया है। प्रतिदिन महाप्रज्ञ वाड्मय का स्वाध्याय व प्रेक्षाध्यान का प्रयोग करें तो जीवन उन्नत बन सकता है। साध्वीश्री द्वारा रचित गीत 'महाप्रज्ञ आनंद लोक के वासी' की प्रस्तुति साध्वीवृंद ने की। साध्वी मधुलताजी ने अपने वक्तव्य द्वारा आचार्यश्री के बहुआयामी व्यक्तित्व और कर्तृत्व को उजागर किया। साध्वी मधुलेखाजी ने भी अपने भावसुमन अर्पित किये। श्री जैन श्वेताम्बर पद्मावती पोरवाल संघ समिति सवाई माधोपुर के मंत्री मुकेश पोरवार ने आस्थासिक्त अभिव्यक्ति दी। महिला मंडल की बहनों ने भावपूर्ण गीत द्वारा श्रद्धा समर्पित की। कार्यक्रम का संचालन साध्वी संस्कृति प्रभाजी ने किया। रात्रिकालीन कार्यक्रम के दौरान साध्वी मधुलताजी द्वारा प्रेक्षाध्यान के विविध प्रयोग कराए गए तथा आचार्यश्री महाप्रज्ञ जी के विलक्षण व्यक्तित्व के इर्द-गिर्द विचारों का आदान प्रदान हुआ।